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Facts about metals for all exams.|धातुओं से संबंधित विविध तथ्य|I Part - 1

 धातुओं से संबंधित विविध तथ्य

  • धातुओं का राजा सोना को कहा जाता है । 
  • पृथ्वी के केन्द्रीय भाग ( core ) में सबसे अधिक निकेल पाया जाता है , दूसरे स्थान पर पाया जाने वाला धातु लोहा है ।
  •  टंगस्टन का संकेत W होता है । [ गलनांक लगभग 3500°C] 
  • भारत में टंगस्टन का उत्पादन राजस्थान स्थित देगाना ( Degana) खान से होता है ।
  •  टंगस्टन तंतु के उपचयन को रोकने के लिए बिजली के बल्ब से हवा निकाल दी जाती है । 
  • जिरकोनियम धातु ऑक्सीजन तथा नाइट्रोजन दोनों में जलते हैं ।
  •  बेडीले आइट जिरकोनियम का अयस्क है । 
  • न्यूट्रॉनों को अवशोषित करने के गुणों के कारण जिरकोनियम कैडमियम एवं बोरॉन का उपयोग नाभिकीय रिएक्टर में किया जाता है । 
  • बेराइल ( Baryl) बेरीलियम धातु का मुख्य अयस्क है ।
  • फ्रांसियम एक रेडियोसक्रिय द्रव धातु है ।
  •  स्टेनस सल्फाइड ( SnS2 ) को मोसाइक गोल्ड ( Mosaicgold) कहते हैं , इसका प्रयोग पेंट के रूप में किया जाता है । टिन अपरूपता प्रदर्शित करता है ।
  •  सोडियम धातु का संग्रहण मिट्टी के तेल में करना चाहिए ।
  • सोडियम का प्रयोग परावर्तक लैम्पों में किया जाता है जो सड़कों पर या पार्किंग में रोशनी के लिए लगाए जाते हैं । 
  • बिना बुझे चूने का रासायनिक नाम कैल्सियम ऑक्साइड है । 
  • शल्य क्रिया में पट्टियों के रूप में कैल्सियम सल्फेट का प्रयोग किया जाता है । 
  • प्लास्टर आफ पेरिस जिप्सम से बनता है ।
  • एस्बेस्टॉस कैल्सियम और Magnesium से बनती है ।
  • बेरियम हाइड्रॉक्साइड को बैराइटा वाटर कहते हैं । 
  • बेरियम सल्फेट ( Barium sulphate ) का उपयोग बेरियम मील के रूप में उदर के X - ray में होता है ।
  • आतिशबाजी के दौरान हरा रंग बेरियम की उपस्थिति के कारण तथा लाल चटक रंग ( crimson red colour ) स्ट्रॉन्शियम ( Sr)की उपस्थिति के कारण उत्पन्न होता है । 
  • लीथियम सबसे हल्का धात्विक तत्व है | यह सबसे प्रबल अपचायक होता है । 
  • चांदी ( Ag) ,सोना ( Au),तांबा ( Cu),प्लेटिनम ( Pt)एवं बिस्मथ ( Bi)अपने कम अभिक्रियाशीलता के कारण स्वतंत्र अवस्था में पाये जाते हैं । 
  • गोल्ड , प्लेटिनम , सिल्वर तथा मरकरी उत्कृष्ट धातुएँ हैं । 
  • धातुओं में सबसे अधिक आघातवर्ध्य सोना ( Au)व चांदी ( Ag)होते हैं । 
  • पारा व लोहा विद्युत् धारा के प्रवाह में अपेक्षाकृत अधिक प्रतिरोध उत्पन्न करते हैं । 
  • चांदी एवं तांबा विद्युत् धारा का सर्वोत्तम चालक है । 
  • एल्युमिनियम का सर्वप्रथम पृथक्करण 1827 ई . में हुआ था । 
  • कार्नोटाइट का रासायनिक नाम पोटैशियम यूरेनिल वेन्डेट होता है । 
  • कैंसर रोग के इलाज में कोबाल्ट के समस्थानिक का उपयोग होता है । 
  • सोडियम परऑक्साइड का उपयोग पनडुब्बी जहाजों तथा अस्पताल आदि की बंद हवा को शुद्ध करने में होता है । 
  • ग्रीनोकाइट कैडमियम का अयस्क है । 
  • कैडमियम का प्रयोग नाभिकीय रिएक्टरों में न्यूट्रॉन मंदक के रूप में संग्राहक बैटरियों में व निम्न गलनांक की मिश्रधातु बनाने में होता है । 
  • एक्टिनाइड ( Actinides) रेडियोसक्रिय तत्वों का समूह होता है । 
  • विश्व प्रसिद्ध एफिल टावर का आधार स्टील व सीमेंट का बना है । 
  • थुलियम का संकेत Tm होता है । 
  • रेडियम का निष्कर्षण पिंचलैंड से किया जाता है । मैडम क्यूरी ने पिंचब्लैंड से ही रेडियम का निष्कर्षण किया था । 
  • वायुयान के निर्माण में पेलेडियम धातु प्रयुक्त होती है । 
  • गैलियम धातु कमरे के ताप पर द्रव अवस्था में पाया जाता है । 
  • सेलीनियम धातु का उपयोग फोटो इलेक्ट्रीक सेल में होता है । 
  • साइटोक्रोम ( Cytochrome) में लोहा उपस्थित होता है ।
  •  जिओलाइट ( Zeolite) का प्रयोग जल को मृदु बनाने में किया जाता है । 
  • टिन अपरूपता प्रदर्शित करता है । 
  • अधिकांश संक्रमण धातु ( Transition elements) और उनके यौगिक रंगीन होते हैं । 
  • सबसे भारी ( Heavy) धातु ओसमियम , सबसे मजबूत ( Strongest) धातु टंगस्टन एवं कठोर ( Hardest) धातु क्रोमियम है । 
  • पोटैशियम कार्बोनेट ( K₂CO₃) को पर्ल एश ( PearlAsh) कहते हैं । 
  • नाइक्रोम ( Nichrome) निकेल , क्रोमियम और आयरन का मिश्रधातु है । विद्युत् हीटर की कुंडली नाइक्रोम की ही बनी होती है । 
  • क्रोमिक अम्ल का रासायनिक नाम क्रोमियम ट्राइऑक्साइड है । 
  • ब्रिटेनिया धातु ( Britannia metal) एण्टिमनी ( Sb),तांबा व टिन ( Sn)की मिश्रधातु है । 
  • बारूद 75 % पोटैशियम नाइट्रेट , 10 % गंधक व 15 % चारकोल एवं अन्य पदार्थों का मिश्रण होता है ।
  • वैविट धातु ( Babbitt metal) में 89 % टिन , 9 % एण्टिमनी व 2 % तांबा होता है । 
  • समूह- I के तत्व क्षार धातुएँ ( Alkali metals) कहलाते हैं एवं इसके हाइड्रॉक्साइड क्षारीय होते हैं जबकि समूह- II के तत्व क्षारीय मृदा धातुएँ ( Alkaline earth metals) कहलाते हैं । 
  • टाइटेनियम को रणनीतिक धातु ( Strategic metal) कहते हैं , क्योंकि इसका उपयोग रक्षा उत्पादन में होता है । यह इस्पात के बराबर मजबूत लेकिन भार में उसका आधा गुण वाला धातु है । वायुयान का फ्रेम तथा इंजन बनाने में , नाभिकीय रिएक्टरों में इसका उपयोग होता है ।

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